आज हम जानेंगे एक ऐसी अदाकारा के बारे में जिसके पिता ब्रिटिश और मां एक मुस्लिम थी, और इस अदाकारा का नाम मशहूर अंडरवर्ल्ड के डॉन के साथ भी जोड़ा गया, 80 के दशक में हिंदुस्तान के फिल्म इंडस्ट्री में सेंसेशन बनकर आई नीली आंखों वाली एक अदाकारा जो हिंदी फिल्म इंडस्ट्री में अपने पहले ही फिल्म से रातों-रात स्टार बन गई, सफेद साड़ी पहनकर जब वह झरने के नीचे गाने गाते फिल्म में नजर आई मानो जैसे पानी में आग लगा दी, और उनका यह सफेद साड़ी वाला सीन उनकी पहचान बन गया I 80 के दशक के बाकी अदाकाराओं से अलग थोड़ी सी पहाड़ी थोड़ी सी फ्लेशी और मासूम से दिखने वाली खूबसूरत और हसीन अदाकारा जिनके अजीबोगरीब अश्लील विवादित सीन देने के वजह से उनके नाम के साथ उनकी पहली ही फिल्म से बोल्ड और भड़काऊ की मोहर लग गई I जब एक बार एक होटल में शॉर्ट कपड़ों में हॉट बनाकर दाखिल हुई, तब उस वक्त वहां मौजूद लोगों के हाथ से चम्मच, कटे गिर गए थे, और यह खबर उस दौर के अखबार की सुर्खियां बन गई थी I
इसी अदाकारा की वजह से फिल्म इंडस्ट्री के मशहूर कपूर खानदान में जबरदस्त झगड़ा हुआ, और राज कपूर के छोटे बेटे राजीव कपूर ने मरते दम तक उनसे बातचीत बंद की थी I उस दौर के मशहूर अंडरवर्ल्ड के डॉन दाऊद इब्राहिम साथ के साथ इनका रिश्ता सामने आने के बाद और उसके साथ मिलकर फिल्मेकर्स को धमकी देने के इल्जामों के चलते इस अदाकारा को फिल्म इंडस्ट्री में काम मिलना बंद हो गया, और हिंदुस्तान के फिल्म इंडस्ट्री में इनका जबरदस्त बॉयकॉट होने के बाद इस अदाकारा को हिंदी फिल्म इंडस्ट्री को छोड़ना पड़ा था I आखिर क्यों इस अदाकारा ने अचानक से एक बौद्ध मांग से शादी की, और किस डर की वजह से यह 26 साल तक हिंदुस्तान के फिल्म इंडस्ट्री से गायब रही, और आखिर क्यों इस अदाकारा का नाम फिल्मों से ज्यादा कंट्रोवर्सी से जुड़ा रहा I
दोस्तों आज हम जानेंगे हिंदुस्तान के फिल्म इंडस्ट्री में अपनी पहली फिल्म “राम तेरी गंगा मैली” से रातों रात स्टार बनी अदाकारा मंदाकिनी जी के जीवन के बारे में, जब भी कभी अदाकारा मंदाकिनी जी के बारे में बात होती है तो उनकी पहली फिल्म “राम तेरी गंगा मैली” की याद जरूर आती है, और उसके साथ ही वह दृश्य नजरों के सामने आता है जब वह सफेद साड़ी पहने झरने के नीचे गाना गाते नहा रही होती है I उस दौर में जब यह फिल्म रिलीज हुई थी तो इस फिल्म ने पर्दे पर आते ही जलवे बिखरे थे यह फिल्म सुपरहिट साबित हुई थी, और झरने वाला सीन मंदाकिनी जी के साथ हमेशा के लिए जुड़ गया था I 1985 को राज कपूर साहब ने मंदाकिनी जी को “राम तेरी गंगा मैली” से लांच किया था, यह उनकी पहली फिल्म थी और अपने पहले ही फिल्म से मंदाकिनी जी रातों-रात स्टार बनी थी, अपने पहली फिल्म से स्टार बनी मंदाकिनी जी इसके बाद कुछ ही फिल्म में काम किया और फिल्म इंडस्ट्री से दूरी बना ली I
अपने दौर की मशहूर खूबसूरत और हसीना अदाकारा मंदाकिनी जी का जन्म 3 जुलाई 1963 को मेरठ के एक एंग्लो इंडियन फैमिली में हुआ, मंदाकिनी जी के पिता जोसेफ एक ब्रिटिश थे, और उनकी मां कश्मीरी मुस्लिम थी, जिसके चलते मां बाप ने मंदाकिनी का नाम यासमीन जोसेफ रखा था, पर फिल्मों में आने के बाद इनका नाम बदल दिया गया I मंदाकिनी जी के परिवार में दूर-दूर तक कोई फिल्मों से जुड़ा हुआ नहीं था, लेकिन मंदाकिनी जी का एक्टर्स बनने का सपना था, इसी सपने के साथ मंदाकिनी जी जब मुंबई पहुंची, तब उन्हें दूसरे आउटसाइडर की तरह स्ट्रगल करना पड़ा I बहुत से डायरेक्ट और प्रोड्यूसर ने मंदाकिनी जी को ऑडिशन में रिजेक्ट किया, उसके बाद राज कपूर साहब की नजर मंदाकिनी जी पर पड़ी तब राज कपूर साहब ने अपनी फिल्म “राम तेरी गंगा मैली” में लेने का डिसाइड किया I
अपनी पहली फिल्म के वक्त मंदाकिनी जी की उम्र 22 साल थी उस जमाने के हिंदी फिल्म इंडस्ट्री के गेट शो मैन कहे जाने वाले राज कपूर साहब ने यासमीन जोसेफ का नाम बदलकर मंदाकिनी रख दिया, और अपनी फिल्म में अपने छोटे बेटे राजीव कपूर के साथ मंदाकिनी जी को कास्ट किया, राजीव कपूर की भी यह पहले ही फिल्म थी I दरअसल एक पहाड़ी से दिखने वाली लड़की की तलाश ने राज साहब को मंदाकिनी जी तक पहुंचा था, राज साहब एक नए चेहरे की तलाश में थे जो मासूम दिखता हो और जिसमें पहाड़ी हाव-भाव नजर आए, मंदाकिनी जी एक स्ट्रगलर थी उन्हें फिल्म मिल गई और फिल्म रिलीज होते ही ब्लॉकबस्टर हो गई I
इस फिल्म में मंदाकिनी जी का झरने वाले हॉट सीन पर बहुत बवाल हुआ, जिसमें उन्होंने पतली सी सफेद साड़ी पहने गाने गाते हैं झरने के नीचे नहा रही थी जिसमें उनके स्तन साफ नजर आ रहे थे, इस दृश्य को लेकर उस दौर में बहुत विवाद हुआ और उस जमाने के हिसाब से इस दृश्य को अश्लील और बहुत ही ज्यादा बोल्ड माना गया, फिल्म में एक और दृश्य है जिसमें मंदाकिनी जी अपने बच्चों को दूध पिलाते नजर आ रही है उसमें भी उनकी सीने का अंग साफ नजर आ रहा है, जिस पर लोगों ने जमकर आपत्ति जताई और उसकी आलोचना की, फिल्म में इस सीन को करने के लिए मंदाकिनी जी कैसे राजी हुई यह कहना मुश्किल है I कहां जाता है कि उस दौर में आम और शरीफ परिवार के लोग इस फिल्म को थिएटर में जाकर देखना पसंद नहीं करते थे, और फैमिली के साथ जाकर देखने का तो सवाल ही पैदा नहीं होता, दोस्तों के साथ भी चोरी छुपे ही जाते थे, ताकि किसी को पता ना चले कि यह फिल्म देखने गए थे I
फिर भी यह फिल्म सुपरहिट रही बहुत से विवादित सीन और मासूम से दिखने वाली पहाड़ी सीधी साधी लड़की जो बेझिझक अपने आप को इन्हें परोस रही थी, इसने इस फिल्म को बहुत शोहरत दिलाई, लेकिन मंदाकिनी जी के बोल्ड और अश्लील दृश्य के वजह से सेंसर बोर्ड में इस फिल्म को पास करने के लिए काफी ज्यादा मशक्कत और मेहनत करनी पड़ी थी I इसी के साथ मंदाकिनी जी के वजह से ही कपूर खानदान में बहुत बड़ा और जबरदस्त झगड़ा भी हुआ था I दरअसल बात यह है कि राज साहब ने अपनी फिल्म “राम तेरी गंगा मैली” से अपने सबसे छोटे बेटे राजीव कपूर को लांच किया था, राजीव ने इस फिल्म में एक अदाकार का रोल बखूबी अदा किया, पर इस फिल्म की कहानी ऐसी थी कि इस फिल्म के अदाकार को अपने अभिनय कौशल्या को दिखाने का श्रेय नहीं मिला, इस फिल्म के कामयाबी का पूरा श्रेय मंदाकिनी जी के झरने वाले सीन, फिल्म के गाने और राज कपूर साहब को मिला, और इस फिल्म के अदाकार के लिए कुछ खास बचा नहीं, और इसी वजह से कपूर खानदान में तनाव बड़ा I
उस जमाने की मशहूर लेखिका मधु जैन ने अपने किताब “द कपूर” में कपूर खानदान के बहुत से अंदर की बातों को उजागर करते हुए लिखा है कि राजीव कपूर उनकी पहली फिल्म में उनका किरदार कमजोर किए जाने का इल्जाम पिता राज साहब पर लगाया, और इसकी जिम्मेदार अपने पिता को मानते थे, और एक तरफ इस फिल्म की अदाकारा मंदाकिनी की रातों रात स्टार बन गई, और इस फिल्म से राजीव कपूर को कोई खास सफलता नहीं मिली I मधु जैन अपनी किताब में यह भी लिखती है की फिल्म की शूटिंग के दौरान सेट पर राजीव कपूर के साथ एक स्पॉट बॉय की तरह व्यवहार करते थे और वही मंदाकिनी जी के साथ एक कामयाब अदाकारा की तरह व्यवहार करते थे, इसके पीछे क्या वजह थी आखिर क्यों और राज कपूर अपने बेटे के साथ ऐसा व्यवहार करते थे यह कहना मुश्किल है I
इस फिल्म के बाद राजीव कपूर अपने पिता से इस कदर नाराज हुए थे, कि उन्होंने अपने पिता से बात करनी बंद कर दी, ऐसा कहा जाता है कि बाप बेटे के बीच तनाव और कड़वाहट इतनी बढ़ गई की जब 1988 में मशहूर फिल्म डायरेक्टर और एक्टर राज साहब का निधान हुआ, जहां दुनिया भर के लोग उनके निधन से शोक मना रहे थे और रो रहे थे, तब राजीव कपूर अपने पिता को आखरी बार देखने उनके अंतिम संस्कार में तक नहीं गए I “राम तेरी गंगा मैली” इस फिल्म के बाद मंदाकिनी जी कुछ और फिल्मों में काम किया जैसे “डांस डांस” (1987), “प्यार करके देखो” (1987), “कहां है कानून” (1987) जैसे फिल्मों में काम किया, इन फिल्मों ने बॉक्स ऑफिस पर कुछ खास कमल नहीं दिखा पाई I
इसके बाद दर्शकों ने मंदाकिनी जी को फिल्मों में सीरियस लेना बंद कर दिया, और मंदाकिनी जी को फिल्मों में अच्छे रोल मिलना भी बंद हुए I तभी 90 के दशक में मंदाकिनी जी का नाम अचानक उस दौर के मशहूर अंडरवर्ल्ड डॉन दाऊद इब्राहिम के साथ जुड़ गया, अंडरवर्ल्ड से जुड़ने के कारण था उनकी एक तस्वीर और यह वही तस्वीर थी जिसे मंदाकिनी जी की जिंदगी को पूरी तरह से हिला कर और बदलकर रख दी, वह तस्वीर दुबई के एक क्रिकेट मैच के दौरान की थी, जो सामने आते ही वायरल हो गई और उससे फिल्म इंडस्ट्री में बवाल मच गया I
इसके बाद हिंदी फिल्म इंडस्ट्री की दुनिया में मंदाकिनी जी की और अंडरवर्ल्ड के डॉन के रिश्ते को लेकर बहुत विवाद हुए, और मंदाकिनी जी को दर्शक और फिल्म इंडस्ट्री के सभी लोग बहुत ही अजीब नजरों से देखने लगे, कुछ लोगों ने उन्हें गद्दार और देशद्रोही तक कहा, और कुछ लोगों ने इनके मां-बाप और उनकी परवरिश पर ही सवाल उठाए I उस दौरान यह भी खबर सामने आई कि दाऊद इब्राहिम द्वारा दिए गए फिल्म इंडस्ट्री की एक पार्टी में ही मंदाकिनी जी की और अंडरवर्ल्ड डॉन दाऊद इब्राहिम इन दोनों की पहली मुलाकात हुई थी, और पहले ही नजर में अंडरवर्ल्ड डॉन दाऊद इब्राहिम मंदाकिनी जी की खूबसूरती और हसीन चेहरे पर फिदा हुआ था I इस मुलाकात के बाद धीरे-धीरे दोनों में दोस्ती बड़ी और मंदाकिनी जी अक्सर अपने शूटिंग का बहाना बनाकर दुबई जाने लगे, दुबई जाने के बाद मंदाकिनी जी अंडरवर्ल्ड डॉन दाऊद इब्राहिम के विला पर ही रुकती थी I
इस बात को लेकर उस जमाने के फिल्म एक्सपर्ट कहते हैं की मंदाकिनी जी ने अंडरवर्ल्ड डॉन से रिश्ता इसलिए बनाया होगा ताकि वह अपने करियर को बुलंदी और ऊंचाइयों पर ले जाने के मकसद से, पर ऐसा कुछ भी हुआ नहीं बल्कि मंदाकिनी जी के सोच से उल्टा हो गया, और देखते ही देखते कई और बातों के खुलासे होने लगे, जिस वजह से फिल्म इंडस्ट्री के सभी डायरेक्टर और प्रोड्यूसर ने मंदाकिनी जी से दूरी बना ली I इसी दौरान उस वक्त यह खबर भी सामने आई की उस जमाने के फिल्म डायरेक्टर जावेद सिद्दीकी कि अंडरवर्ल्ड डॉन दाऊद इब्राहिम ने कत्ल करवाया था, क्योंकि जावेद सिद्दीकी ने मंदाकिनी जी को अपने फिल्म में कास्ट करने से माना कर दिया था I साल 1993 में हुए मुंबई बम ब्लास्ट धमाके में दाऊद इब्राहिम का नाम सामने आया तब वह मोस्ट वांटेड क्रिमिनल बन गया, मुंबई बम ब्लास्ट धमाके के तहकीकात में मुंबई पुलिस ने मंदाकिनी जी को पूछताछ के लिए हिरासत में ले लिया, क्योंकि उन दिनों मंदाकिनी जी को अंडरवर्ल्ड डॉन दाऊद इब्राहिम की गर्लफ्रेंड के तौर पर जाना जाता था I
मुंबई पुलिस के हिरासत में लेने के बाद मंदाकिनी जी बुरी तरह से फस गई उन्हें बहुत से मुश्किलों और परेशानियों का सामना करना पड़ा, और इसी वजह से ज्यादातर फिल्म डायरेक्टर और प्रोड्यूसर मंदाकिनी जी को अपनी फिल्म में कास्ट करने से कतरने लगे I इस बात का मंदाकिनी जी को गहरा सदमा लगा, और आखिर कार मंदाकिनी जी ने अंडरवर्ल्ड डॉन दाऊद इब्राहिम से अपने सारे रिश्ते तोड़ दिए, और इसी के साथ हिंदी फिल्म इंडस्ट्री को भी अलविदा कह दिया I एक्सपर्ट का मानना है कि यह एक तरह से मंदाकिनी जी के लालच का बुरा नतीजा है, और जिसकी सजा उन्हें मिली, फिल्म इंडस्ट्री में आसानी से फिल्म मिलने के चाहत ने उनकी सफलता और कामयाबी उनसे छिन ली I
फिल्म इंडस्ट्री की अदाकारा मंदाकिनी जी के और एक अंडरवर्ल्ड डॉन के बीच क्या रिश्ता था यह तो कहना थोड़ा मुश्किल है, लेकिन एक अंडरवर्ल्ड डॉन के साथ नाम जुड़ने की वजह से मंदाकिनी जी को अपने कामयाब फिल्मी करियर की बहुत बड़ी कीमत चुकानी पड़ी I इसके काफी सालों बाद 2010 में एक इंटरव्यू में मंदाकिनी जी ने खुद यह बात कबूली थी कि उनके और अंडरवर्ल्ड डॉन दाऊद इब्राहिम के बीच रिश्ते को लेकर जो बातें हुई वह बस एक अफवाह थी, और अब वह उनके लिए बस एक बीता हुआ कल है जिसके बारे में वह बात तक करना पसंद नहीं करेंगे, क्योंकि इसके कारण वह पहले ही बहुत कुछ बर्दाश्त और सहन कर चुके हैं, और अपना सब कुछ गवा बैठी है I
मंदाकिनी जी ने अपने 11 साल के फिल्मी करियर में 44 फिल्में में काम किया, मंदाकिनी की आखिरी फिल्म “जोरदार” थी, जो 1996 में रिलीज़ हुई थी, इस फिल्म में गोविंदा मुख्य भूमिका में थे और इसे अनीस बज़्मी ने निर्देशित किया था, इस फिल्म के बाद, मंदाकिनी ने फिल्म इंडस्ट्री से दूरियां बना लीं और अपने व्यक्तिगत जीवन पर ध्यान केंद्रित किया।
मंदाकिनी जी की निज़ी जिंदगी :
मंदाकिनी जी ने फिल्मों से दूरी बनाने के बाद साल 1990 में डॉ. काग्यूर टी. रिनपोचे ठाकुर से शादी की, डॉ. काग्यूर टी. रिनपोचे ठाकुर एक पूर्व बौद्ध भिक्षु और तिब्बती धर्मगुरु हैं, मंदाकिनी जी को दो बच्चे हुए बेटे का नाम रब्बिल ठाकुर और बेटी का नाम राब्जे इनाया ठाकुर है। आपको यह जानकर हैरानी होगी कि मंदाकिनी जी के पति डॉ. काग्यूर टी. रिनपोचे ठाकुर “मर्फी रेडियो” के उस प्रसिद्ध विज्ञापन के लिए जाने जाते हैं, जिसमें एक प्यारा बच्चा रेडियो के साथ नजर आता है, यह विज्ञापन 1970 और 1980 के दशक में बहुत लोकप्रिय था, और यह उस दौर में मशहूर चाइल्ड आर्टिस्ट बने थे, और वह बच्चा बाद में हिंदी फिल्म इंडस्ट्री की खूबसूरत अदाकारा मंदाकिनी जी के पति बने।
डॉ. काग्यूर ठाकुर से शादी करने के बाद मंदाकिनी जी ने बौद्ध धर्म अपनाया, और अपने पति के साथ मिलकर तिब्बती योगा सेंटर चलाना शुरु किया, मंदाकिनी और उनके पति मुंबई के अंधेरी इलाके में रहते हैं और एक तिब्बती हर्बल सेंटर चलाते हैं, जहां वे तिब्बती योग और दवाइयों से संबंधित सेवाएं प्रदान करते हैं, और दोनों पति-पत्नी में एक आम इंसान की तरह अपनी सामान्य जिंदगी गुजर रहे हैं I पिछले साल 27 जनवरी 2023 को मंदाकिनी जी के बेटे रब्बिल ठाकुर की शादी हुए, और मंदाकिनी के बेटे ने एक्टिंग में डेब्यू किया है जो की एक गाने का एल्बम है और उस एल्बम में मंदाकिनी जी ने अपने बेटे के साथ मां की भूमिका निभाई है I तो कुछ इस तरह से नीले आंखों वाली खूबसूरत और हसीन अदाकारा का फिल्मी करियर का बहुत ही कम वक्त में अंत हुआ, जिसके लिए उनकी खुद की गई कुछ गलतियां जिम्मेदार है I
तो यह थी दोस्तों हिंदी फिल्म इंडस्ट्री में बोल्ड सीन देने वाली अपनी नीली आंखों से खूबसूरत दिखने वाली अदाकारा मंदाकिनी जी के जीवन का परिचय I